किसान और सिकंदर(नाटक theatre artiste of india)
नुक्कड़ नाटक की शैली ..
सारे कलाकार एक घेरा बनाते हैं और गीत गाते है...
o palanhare, nirgun aur nyare -2,
tumare bin hamara kaunon nahee
hamaree uljhan suljhao bhagwan,
tumare bin hamara kaunon nahee
tumhe hamaka ho sambhale,
tumhe hamare rakhwale
tumare bin hamara kaunon nahee
किसान -1..सुनो सुनो भई..अपना भुवन जी भुवन अब तो तीन idiots का बीग इडियट्स बन गया है
दूसरा किसान - अच्छा जी अच्छा क्या कर रहा है
तीसरा - कहे रहा है सूखे से निपटने का तरीका है उसके पास ..
(ज़ोरदार हंसी सब हंसते हैं.. हा हा ..)
किसान-1 सूखे का ..हा हा हा हकीम लुकमान जिस का इलाज नहीं कर पाये.. उस सूखे का इलाज भुवन करेगे ..भुवन ... वहा वहा ( हंसते है सब)
किसान -1 हमारे ताऊ की आंखों मे मोतिया हो गया ..
किसान दो - हमारे मामा का तो जीगर डोल गया
किसान तीसरा - सूरज की तपिश से हमारा पूरा खानदान काला हो गया ...
किसान1- जॉमीन बंजर हो गई ..खेत पत्थर हो गया...
किसान 3- ऐसी भंयर प्राकिृत आपदा से निपटने का तरीका वो जानता है ..कल बच्चा ...क्या मज़ाक है ..
भुवन - ये मज़ाक नहीं है ययये सच है ..सही दिशा में सोच से किसी मे विपदा से निपटा जा सकता है तो सूखा क्या है ..और मैं इसे कर के दिखाऊंगा...
किसान- जा भुवन जा बहुत देखे तुम जैसे सिरफिरे -- उम्र हो गई हमारी ...
भुवन - आप लोग मेरी बात क्यों नहीं मान रहे ..हर साल सिंचाई में कितना पैसा खर्च करते हो ..कहां कहां से मशीने ला कर पानी का जुगाड़ करते हो फिर बी खेत सूखे का सूखा.. जबकि ये काम कितनी आसानी से हो सकता है और हमारा खेत..हर वक्त हरा भरा रहे सकता है ...
किसान - अरे चल पहले कुछ करके तो दिखा ...फिर बोल..भुवन तो थोड़ा अलग होता है धीरे धीरे किसान उसे धेरते है गाना गाते हुए...
Behti hawa sa tha woh
Udti patang sa tha woh
Kahan gaya usse dhoondo
Hum ko to raahein thi chalati
Woh khud apni raah banata
Girta sambhalta masti mein chalta tha woh
भुवन फावड़ा लेकर खेत को ओर निकलता है ..पीछे से आवाज़ा आती है ...
आवाज़ा1- क्यो भुवन कहां चले सुबह सुबह ..
दूसरी आवाज़ अरे अपने खेत में खेत मे गड्डा खोदने
आवाज़ ..गड्डा हा गधा और गड्डा ... हा हा ...
कहते है जो गड्डा खोदता है वो खुद उसमें गिरता है ..हा हा हा ....
भुवन -- (गड्डा खोदते हुए)..वो गिरते हैं जो दूसरे के लिए गड्डा खोदते हैं और मैं अपने लिए अपनी धरती के लिए अपने खेत के लिए गड्डा खोद रहा हूं,,,हां इस बार बरसात में देखो कैसे बदलती है किस्मत...
गाना -- काले मेधा काले मेधा पानी तो बरासओं.. पानी तो बरसाओं...
किसान -- देखो देखो भुवन के गड्डे में तो पानी भर रहा है ..लो भाईया ..खेत मे नाला निकलेगा ....नाला ..
भुवन - नाला नहीं ..ये वो नदी है जो मेरे खेत को पूरे साल सीचें गी ।
किसान- अजी हां ..ऐसा भला हो सकता है ..
किसान -2 अजी बरसात में इस का दिमाग भी भय गया...
हा हा हा ...
कोरस-- हंसी हंसी में वक्त गुज़र गया
पानी बरस कर यूंही बह गया...
न की इन्होने पानी की कद़र ..
लो फिर से आ गया ... जीवन में दर्द....
किसान- अरे भगवान फिर से पानी की कमी ..फिर से सूखे का प्रकोप.. कैसे करूं सिचाई..
किसान दूसरा - हमारे खेत तो सूखने लगे पर भुवन का खेत लह लहा रहा है ( तभी भुवन आता है )
भुवन -क्यों भई इस पागल के खेत को क्यो देख रहे हो...
किसान - भुवन ये कमाल कैसे हुआ ...
भुवन - ये कोई कमाल नहीं है बस जो मैने गड्डा खोदा था उसकी बदौलत है .. ( किसान सिर झुकाते हैं)..उस गड्डे में पानी जमा हुआ जिसे मेरी ज़मीन नम रहने लगी और खेत हरा भरा ..तुम लोगों को भी सलाह दी थी पर तुम नहीं माने ..( किसान शर्मिदा दिखे )तभी अचानक एक किसान कुछ देखते हुए....
किसान -- अरे भुवन तुम्हारे तलाब में कुछ किसान कुछ डाल रहे हैं ...
किसान- देखो देखो भुवन कहीं खेत न सूख जाए
भुवन - ( हंसते हुए) नहीं मैं अब उस पानी मेम मछली पालूगां .. जिससे खेती के साथ मेरी और भी आमदनी बढ़ जायेगी ...
किसान --- अरे वाह...
दूसरा किसान --- आमदनी बढे गी ..और खर्च मछली पालना आसान है क्या .. खिलाऊगे क्या...
भुवन --- ताऊ मेरे पास जो मुर्गिया हैं उसका दरबा तलाब के ऊपर बनवाऊंगा..मुर्गियां भी पले गी और मछलिया भी ...
मुर्गी पालन और मछली पालन दोनो काम एक साथ...
किसान ..वाह भुवन वाह..
भुवन--- और ये ही नही.. कृषि बीमा और क्रेडिट कार्ड की बदौलत मुझे किसी से कर्ज़ लेने की ज़रूर नबीं और मेरी खेती भी सुरक्षित...
सारे किसान .. अपना भुवन तो मास्टर .. वो आमिर ख़ान की फिल्म का गाना है न..
वो सिंकदर ही दोस्त..कहलाता है ..हारी बाज़ी तो जीत कर लाता है...
o palanhare, nirgun aur nyare -2,
tumare bin hamara kaunon nahee
hamaree uljhan suljhao bhagwan,
tumare bin hamara kaunon nahee
tumhe hamaka ho sambhale,
tumhe hamare rakhwale
tumare bin hamara kaunon nahee
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